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पुस्तकों का महत्व| pustako ka mahatv. Importance of books

जीवन में जब भी किसी को सच्चे मित्र और मार्गदर्शक की आवश्यकता हो तो उसे पुस्तकों का सहारा लेना चाहिए| हमारे मित्र या  मार्गदर्शक हमसे नाराज हो सकते है, कोई अपेक्षा रख सकते है, हमें त्याग सकते है और मर भी सकते हैं| पर पुस्तकें वो निरपेक्ष साथी हैं जो हमें सिर्फ देती हैं, कभी हमारा त्याग नहीं करती, विषम परिस्थिति में भी हमारा साथ निभाती है| न कभी नाराज होती न त्यागती है| पीढ़ी-दर-पीढ़ी ज्ञान को आगे बढ़ाती है| मौन रहकर भी कितना कुछ समझा जाती है| सिरहाने रखो या पैरों में कोई प्रतिक्रिया नहीं देती| देती है तो सिर्फ ज्ञान| उदाहरनार्थ श्रीमद भगवद्गीता| महाभारत काल में अर्जुन का पथप्रदर्शन किया था| हम उसे समझकर पालन कर सकें तो हमारे लिए भी ठीक ऐसी ही है जैसी अर्जुन के लिए थी| पुस्तकों का महत्व किसी भी युग में कमतर नहीं हो सकता| पुनर्मुद्रित होकर ये सदा युवा बनी रहती है| आजकल ई-पुस्तकें चलन में हैं| माध्यम कोई भी हो पर कर्म उतने ही उदात्त हैं| अनेक पुस्तक प्रेमी घर पर ही अपनी पसंदीदा पुस्तकों का संग्रह करके छोटा पुस्तकालय बना लेते हैं| पुस्तकें सभ्यता और संस्कृति की सच्ची वाहक हैं|पूर्व में छापाखाना के अभाव में अनुभवों को भोजपत्र पर लिखकर सहेजा जाता था| धीरे-धीरे कागज- कलम अस्तित्व में आये| अगर लेखन कला विकसित न होती तो ज्ञान उस पीढ़ी के साथ ही नष्ट हो  जाता| आज जनमानस रामायण, महाभारत, कल्याण सरीखी पुस्तकों से धार्मिक ज्ञान अर्जन करता हैं तो दूसरी ओर साहित्य प्रेमी कालिदास,  मुन्शी प्रेमचंद, मैथिलीशरण गुप्त, महादेवी वर्मा, नरेंद्र कोहली  मिल्टन, शेक्सपियर जैसे अनगिनत महान लेखकों की रचनाओं का आनंद लेते हैं| सबका अपनी रूचि का क्षेत्र होता है और पुस्तकों में उनकी तलाश पूर्ण हो जाती है| अगर किसी विद्यार्थी को पुस्तकों से प्रेम है तो उसका भविष्य उज्जवल है| वो कभी तनावग्रस्त नहीं होगा और अकेलापन महसूस नहीं करेगा| वो अपने एकांत में श्रेष्ठ पुस्तकों से नवीन ज्ञान का अर्जन करेगा और जीवन सार्थक करेगा| इस प्रकार हम निष्कर्ष रूप में कह सकते है कि पुस्तकें वो प्रकाश स्तम्भ हैं जो भटके हुए पथिकों को रास्ता दिखाती हैं| ध्रुवतारे की तरह अटल व प्रकाशित रहकर सबका निष्पक्ष मार्गदर्शन करती हैं| 

[tex]\huge\mathfrak\red{Heya \: Mate! ♡}[/tex]

[tex]\huge\mathcal\green{AnSwEr:}[/tex]

बहुत सारे छात्रों द्वारा अक्सर किताबों को बोझ समझने की गलती की जाती है। इसके विपरीत, वे हमारी सख्त जरूरत के बचाव में आते हैं। वे हमारी बड़ी दुनिया के लिए एक खिड़की हैं और इसे विभिन्न कोणों से प्रस्तुत करते हैं। इसके अलावा, वे विभिन्न प्रकार के विषयों पर समय की इतनी बड़ी अवधि में एकत्र किए गए विचारों और डेटा का संग्रह हैं। वे देखते हैं कि मानव जाति ने अपनी लंबी यात्रा के दौरान कैसे प्रगति की है। और जब तक हम उस पर नहीं जाते, हम यह नहीं जान सकते कि भविष्य की दुनिया हमारे लिए कैसी होगी। पुस्तकें अपने क्षेत्र में एक पेशेवर को एक जम्पस्टार्ट देती हैं, क्योंकि वह उस क्षेत्र में प्राप्त किए गए सभी माध्यमों से जा सकता है और एक ही कार्य के पुनरावृत्ति से बचकर अपना समय और प्रयास बचा सकता है। विभिन्न विषयों पर। वे उस यात्रा का एक मील का पत्थर हैं जिसे मानव जाति ने कवर किया है , इसका विवरण है।

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