Answer :

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दोनो विषयों पर लघु कथा लिखिए।

1 कामचोर कौवा

2 अकलमंद चोर

Here are two short stories based on the given topics:

**1. Kamchor Kauwa (Lazy Crow)**

Once upon a time, there was a lazy crow named Kauwa. He would always delay his work, saying "I'll do it tomorrow." His friend, a hardworking squirrel named Gilheri, would try to motivate him. One day, Gilheri said, "If we start early, we can finish the field work by evening." But Kauwa refused, saying he would do it later. Gilheri did the work alone and finished it by evening. Kauwa never showed up. The next day, Gilheri again asked Kauwa to help, but he just slept and didn't come. This continued until the harvest was ready. Kauwa finally came to Gilheri and said, "Let's harvest it now." But Gilheri had already done it alone. Kauwa realized his mistake and regretted his laziness.

**2. Akalmand Chor (Clever Thief)**

A king had a pet monkey named Banda. The king loved Banda and tolerated all his mischief. One day, a clever thief named Chor came to the kingdom. He stole the king's treasure and hid it. The king was devastated. Banda, being clever, discovered the thief and stole the treasure back. He then hid it in a safe place. The king was grateful and praised Banda for his cleverness. The thief was caught and punished. The king realized that sometimes, it's better to have a clever pet than a loyal one.

Explanation:

**कामचोर कौवा**

एक गांव में बहुत सारे कौए रहते थे। एक कौवा था जो बहुत ही कामचोर था। वह दिनभर बस आराम करता रहता और दूसरे पक्षियों के बनाए गए घोसलों से चुरा काम चुराया करता था। उसे ज्यादा कुछ करने की आदत नहीं थी।

एक दिन, उसे भूख लगी और उसने अपनी आंखें गांव में घूमाई। वह देखने लगा कि कहीं कोई अनाज की खुली डिबिया नहीं दिख रही थी। वह फिर एक अंधेरे कोने में एक घोसला देखा। उसने घोसले की तरफ दौड़ा और देखा कि वहां एक पेड़ पर एक मादा कौवा अपने बच्चों को खाने के लिए दाना लेकर लौट रही थी।

कौवा ने तुरंत सोचा, "यहां अनाज हो सकता है!" और बिना सोचे-समझे वह घोसले में घुस आया। वह जल्दी से एक छोटी सी डिबिया में अनाज भरकर उसे अपने पंखों पर लेकर उड़ गया।

कौवा की यह हरकत देखकर बच्चे डर गए। मां कौवा वापस आई और उन्होंने देखा कि उनके अनाज की डिबिया खाली हो गई है। उन्होंने अपने बच्चों से पूछा, "यहां कौन आया और हमारा अनाज छीन लिया?"

बच्चे डरकर बोले, "मां, एक और कौवा आया था और हमारे अनाज की डिबिया छीनकर ले गया।"

मां ने कहा, "यह ठीक नहीं है। हमें सभी पक्षियों के साथ शांति से रहना चाहिए। हम अनाज छोड़ देते हैं ताकि सभी को भोजन मिल सके।"

इस घटना ने कौवे को समझाया कि बिना मेहनत के दूसरों का अनाज चुराना गलत है। वह फिर से सोचने लगा कि वह भी मेहनत करके अपना भोजन खुद कमाना चाहिए।

**अकलमंद चोर**

एक गांव में एक चोर रहता था जिसे लोग अकलमंद कहते थे। वह चोरी के लिए बहुत ही चालाक था और हर बार उसकी चोरी सफल होती थी। लोग दर दर भटकते रहते कि उसे कैसे पकड़ा जाए।

एक दिन, उसे एक बड़ी सोने की प्रतिमा दिखाई दी। उसने सोचा, "यह सोने की प्रतिमा मुझे लेकर किसी औरत के घर से छुरा सकती है।" वह अपनी योजना बनाई और रात के समय उसने प्रतिमा लेकर भाग लिया।

उसने प्रतिमा अपने घर में लेकर रख दी और सोने के अच्छे समय का इंतजार करने लगा। परन्तु, कुछ ही दिनों बाद उसकी सोच बदल गई। उसे प्रतिमा की सुंदरता से अच्छा लगने लगा और वह सोचने लगा, "इस प्रतिमा को मैं छुरा चुरा कर ले आया, पर इसकी असली कीमत उसकी सुंदरता में है।"

उसने तुरंत प्रतिमा को लेकर अपने घर वापस लौट आया और उसे वापस उसी औरत के घर लेकर चला गया, जहां से उसने छुरा लिया था। वह औरत बहुत खुश हुई और उसने उसे बहुत धन्यवाद दिया।

उसने आत्मसमर्पण से सोचा, "मैं इस प्रतिमा की सुंदरता की कीमत कैसे तय कर सकता हूँ? इसे मैंने छुरा चुरा कर लिया,

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